मारहरा। जनपद एटा के कस्बा मारहरा की विश्व विख्यात दरगाह खानकाह-ए-बरकातिया के सज्जादानशीन सैयद मोहम्मद अमीन मियां के भतीजे और मुरार, ग्वालियर में नायब तहसीलदार के पद पर तैनात सैयद मोहम्मद बरकात का दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया। 29 वर्षीय सैयद बरकात का बुधवार शाम दरगाह खानकाह-ए-बरकातिया पर अंतिम संस्कार किया गया।
- मध्यप्रदेश में निभा रहे थे सेवाएं…
सैयद मोहम्मद बरकात मध्यप्रदेश में नायब तहसीलदार के पद पर रहते हुए प्रशासनिक सेवा में सक्रिय थे। बुधवार सुबह तड़के अचानक दिल का दौरा पड़ने के बाद परिजनों ने उन्हें अलीगढ़ के मेडिकल कॉलेज में भर्ती कराया, जहां इलाज के दौरान उन्होंने दम तोड़ दिया। - पिता का चार साल पहले हुआ था निधन…
चार साल पहले, उनके पिता और आईपीएस अधिकारी सैयद मोहम्मद अफजल मियां का भी बीमारी के चलते निधन हो गया था। पिता की मृत्यु के बाद परिवार अभी तक उस दुख से उबर नहीं पाया था, और अब सैयद बरकात के असमय निधन ने पूरे परिवार को शोकाकुल कर दिया है। - दरगाह खानकाह-ए-बरकातिया पर लाया गया पार्थिव शरीर…
बुधवार दोपहर दो बजे सैयद बरकात के पार्थिव शरीर को मारहरा स्थित दरगाह खानकाह-ए-बरकातिया लाया गया। यहां शाम को बाद नमाज-ए-मगरिब, उनका अंतिम संस्कार किया गया। उनके अंतिम संस्कार में बड़ी संख्या में अनुयायी और स्थानीय लोग शामिल हुए। - उर्स कासमी में हुए थे शामिल…
सैयद बरकात हाल ही में 15 नवंबर से शुरू हुए तीन दिवसीय उर्स-ए-कासमी में शरीक होने के लिए मारहरा शरीफ आए थे। उन्होंने उर्स में देश विदेश से आये अनुयायियों को संबोधित भी किया। उर्स के समापन के बाद सोमवार को वे अपने अलीगढ़ स्थित आवास लौट गए थे, जहां उनकी तबीयत बिगड़ गई। - कस्बे में शोक की लहर…
उनकी मौत की खबर मिलते ही दरगाह परिसर में बड़ी संख्या में लोग जुटने लगे। समाज के विभिन्न वर्गों के लोग, जिनमें आम नागरिकों से लेकर प्रशासनिक अधिकारी तक शामिल थे, शोक व्यक्त करने पहुंचे।
मोहम्मद बरकात हैदर के निधन को क्षेत्र ने एक बड़ी क्षति के रूप में देखा है। लोग उनकी सरलता, विनम्रता और कर्तव्यनिष्ठा को याद कर रहे हैं। दरगाह के सज्जादानशीं सैय्यद नजीब हैदर नूरी ने इसे परिवार और समाज दोनों के लिए अपूरणीय क्षति बताया।